Fatehpur News: अखरी हत्याकांड के बाद पुलिस महकमे में गिरी गाज, दो अफसर सस्पेंड, लेकिन पूर्व एसओ पर चुप्पी क्यों?

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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के फतेहपुर में हुए अखरी ट्रिपल मर्डर केस के बाद पुलिस की लापरवाही सामने आई है. एसपी ने वर्तमान एसओ और हल्का इंचार्ज को निलंबित कर दिया, लेकिन तत्कालीन एसओ पर कोई कार्रवाई नहीं की गई.
Fatehpur News: यूपी के फतेहपुर जिले में हुए बहुचर्चित अखरी ट्रिपल मर्डर (Akhari Tripal Murder) कांड के बाद पुलिस विभाग पर सवालों की बौछार शुरू हो गई है. जहां एक ओर 6 नामजद हत्यारोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है, वहीं दूसरी ओर पुलिस की कार्यशैली पर गंभीर आरोप लगने के बाद दो अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया गया है.
सस्पेंशन की गाज गिरी, लेकिन सवाल बाकी

वायरल वीडियो ने खोली लापरवाही की परतें
अखरी हत्याकांड के बाद एक पुराना वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ जिसमें देखा गया कि किसान नेता पप्पू सिंह को पूर्व प्रधान मुन्नू सिंह और उसके सहयोगी लाठियों से पीट रहे हैं. यह वीडियो रक्षाबंधन के दिन का बताया जा रहा है, जब पप्पू सिंह अपने बेटे अभय के साथ गंगा स्नान कर लौट रहे थे.
रसूखदार नेताओं का संरक्षण बना मुसीबत
ग्रामीणों और सूत्रों के अनुसार, पूर्व प्रधान मुन्नू सिंह को क्षेत्रीय कद्दावर नेता का संरक्षण प्राप्त था. यही कारण था कि वह बार-बार अपराध करने के बावजूद बेखौफ रहा और पुलिस ने भी उसके खिलाफ कोई सख्त कदम नहीं उठाया. प्रशासन की यही नर्मी अंततः तीन जिंदगियों के खात्मे का कारण बनी.
प्रशासन ने बचाव में साधी चुप्पी
वायरल वीडियो के बाद शासन ने फतेहपुर प्रशासन से रिपोर्ट तलब की थी, लेकिन कार्रवाई के नाम पर केवल वर्तमान एसओ और हलका इंचार्ज पर ही गाज गिरी. ग्रामीणों और स्थानीय लोगों में इस बात को लेकर रोष है कि वृंदावन राय जैसे अधिकारी को बचाकर प्रशासन आखिर क्या संदेश देना चाहता है?