Kanpur DM CMO Vivad: कानपुर में सीएमओ की कुर्सी पर दो दावेदार ! मौके पर पहुंची भारी पुलिस फोर्स, जानिए पूरा मामला
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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के कानपुर (Kanpur) में सीएमओ की कुर्सी को लेकर बुधवार को हाई वोल्टेज ड्रामा हुआ. हाईकोर्ट से निलंबन पर स्टे मिलने के बाद डॉ. हरिदत्त नेमी कार्यालय पहुंचे और मुख्य कुर्सी पर बैठ गए. कुछ देर बाद वर्तमान सीएमओ डॉ. उदयनाथ भी पहुंच गए. दोनों के आमने-सामने बैठने से विवाद बढ़ गया और पुलिस, एसडीएम व एसीपी को दखल देना पड़ा.

Kanpur DM CMO Vivad: कानपुर में मुख्य चिकित्सा अधिकारी (CMO) पद को लेकर बुधवार को ऐसा नजारा देखने को मिला, जिसने सरकारी प्रशासन और पदभार को लेकर कई सवाल खड़े कर दिए. हाईकोर्ट से निलंबन पर स्टे मिलने के बाद डॉ. हरिदत्त नेमी (Dr Haridatta Nemi) सीएमओ कार्यालय पहुंचे और कुर्सी पर बैठ गए. कुछ ही देर में वर्तमान सीएमओ डॉ. उदयनाथ (Dr. Uday Nath) आ गए. दोनों अधिकारी आमने-सामने बैठ गए और विवाद बढ़ गया. अब मामला शासन और मुख्यमंत्री स्तर तक पहुंच गया है.
हाईकोर्ट से स्टे मिलते ही डॉ. नेमी ने संभाला मोर्चा
बुधवार सुबह 9:30 बजे निलंबित किए गए सीएमओ डॉ. हरिदत्त नेमी हाईकोर्ट से स्टे लेकर रामादेवी स्थित सीएमओ कार्यालय पहुंचे. उन्होंने सीधे मुख्य कुर्सी संभाल ली और उपस्थिति रजिस्टर मंगाकर दस्तखत किए. कार्यालय के कर्मचारियों को निर्देश भी देने लगे.
इस दौरान कुछ ही देर में मौजूदा सीएमओ डॉ. उदयनाथ भी पहुंच गए. उन्होंने आपत्ति जताई कि निलंबित अधिकारी कैसे कुर्सी पर बैठ सकते हैं. इस पर डॉ. नेमी ने कोर्ट के आदेश का हवाला दिया और टकराव की स्थिति बन गई.
पुलिस, एसडीएम और एसीपी को करना पड़ा दखल
वहीं डॉ. उदयनाथ ने बताया कि पूरे मामले की जानकारी डीएम जितेन्द्र प्रताप सिंह (IAS Jitendra Pratap Singh) को दे दी गई है और शासन को भी मेल कर दिया गया है. विवाद की गंभीरता को देखते हुए कार्यालय के बाहर सुरक्षा भी बढ़ा दी गई.
डॉ. नेमी का दावा: “मेरे निलंबन से पहले ही जॉइनिंग कैसे हो गई?”
डॉ. हरिदत्त नेमी ने प्रेस से बातचीत में कहा कि 19 जून को 12:43 पर उनका निलंबन हुआ था, जबकि उसी दिन 12:41 पर डॉ. उदयनाथ को कानपुर सीएमओ के तौर पर जॉइनिंग दे दी गई. उन्होंने सवाल उठाया कि जब तक वह निलंबित नहीं हुए थे, तब तक किसी और की नियुक्ति कैसे वैध हो सकती है.
डॉ. नेमी ने यह भी कहा कि हाईकोर्ट ने न सिर्फ उनके निलंबन पर रोक लगाई है, बल्कि डॉ. उदयनाथ की नियुक्ति पर भी स्टे दे दिया है. इसलिए अब वह ही कानपुर के वैध सीएमओ हैं.
डॉ. उदयनाथ का जवाब: प्रमुख सचिव के आदेश पर आया हूं
वहीं दूसरी तरफ डॉ. उदयनाथ ने स्पष्ट किया कि उन्हें प्रमुख सचिव स्वास्थ्य के निर्देश पर कानपुर (Kanpur CMO) भेजा गया है और वे ही कानूनी रूप से कार्यरत सीएमओ हैं.
उन्होंने कहा कि कुछ देर कार्यालय में रुकने के बाद अब वे फील्ड निरीक्षण के लिए निकल रहे हैं. डॉ. उदयनाथ ने यह भी कहा कि शासन के आदेश सर्वोपरि हैं और जब तक कोई नया निर्देश नहीं आता, वह ही सीएमओ बने रहेंगे.
ऑडियो वायरल, डीएम से विवाद और फिर कोर्ट की शरण
पूरा मामला उस समय शुरू हुआ जब एक ऑडियो वायरल हुआ, जिसमें पूर्व सीएमओ डॉ. नेमी कथित तौर पर डीएम जितेन्द्र प्रताप सिंह के खिलाफ अपशब्दों का इस्तेमाल करते सुने गए. इसके बाद डीएम ने शासन को पत्र भेजकर डॉ. नेमी के खिलाफ कार्रवाई की सिफारिश की.
शासन ने 19 जून को उन्हें निलंबित कर दिया. डॉ. नेमी ने इस कार्रवाई को पक्षपातपूर्ण बताया और हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में याचिका दाखिल की. कोर्ट ने निलंबन आदेश पर रोक लगा दी और इसी के आधार पर वह दोबारा कार्यालय पहुंचे.
सीएम तक पहुंचा मामला, पूरे प्रदेश में चर्चा का विषय बना
सीएमओ कार्यालय में बुधवार को जो हुआ, उसने पूरे प्रदेश का ध्यान आकर्षित किया. मामला मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ तक पहुंच गया है और उम्मीद है कि स्वास्थ्य विभाग अब इस मामले में कोई स्पष्ट दिशा-निर्देश देगा. इस पूरे घटनाक्रम से सरकारी महकमे की आंतरिक खींचतान एक बार फिर उजागर हो गई है, जिसे आम जनता भी हैरानी से देख रही है.