
UPPCL News: ईद पर छुट्टी नहीं ! बिजली विभाग का बड़ा फैसला, जानिए क्या है कारण?
UPPCL News
उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) सरकार ने वित्तीय वर्ष की समाप्ति को देखते हुए 30 और 31 मार्च को यूपी पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (UPPCL) के कर्मचारियों की ईद-उल-फितर (Eid-ul-Fitr) की छुट्टी रद्द कर दी है. राजस्व वसूली और बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए फैसला लिया गया है.
UPPCL News Today: पूरे देश में ईद-उल-फितर (Eid-ul-Fitr) की से तैयारियां चल रही हैं, लेकिन उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) सरकार के एक हालिया फैसले ने सबको चौंका दिया है. यूपी पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (UPPCL) ने 30 और 31 मार्च को बिजली विभाग के कर्मचारियों की छुट्टियां निरस्त करने का आदेश जारी किया है. इसका कारण वित्तीय वर्ष का अंतिम सप्ताह बताया जा रहा है, जिसमें राजस्व वसूली और आवश्यक प्रशासनिक कार्यों को प्राथमिकता दी गई है.
छुट्टियां रद्द करने के पीछे की बड़ी वजह

गर्मी में बिजली संकट से निपटने की तैयारी तेज
गर्मी के मौसम को ध्यान में रखते हुए यूपी पावर कॉरपोरेशन ने बिजली की मांग और आपूर्ति से संबंधित तैयारियों की समीक्षा की है. हाल ही में चेयरमैन डॉ. आशीष गोयल की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय बैठक आयोजित की गई, जिसमें प्रबंध निदेशक पंज कुमार, कॉर्पोरेट प्लानिंग निदेशक के वी सिंह और अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे.
बैठक में बिजली की निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए. डॉ. आशीष गोयल ने निर्देश दिया कि बिजली वितरण निगमों को सुनिश्चित करना होगा कि मरम्मत कार्य समय पर पूरा हो, जिससे सभी बिजली संयंत्र अपनी पूर्ण क्षमता पर काम कर सकें. इसके साथ ही, उन्होंने नवीकरणीय ऊर्जा को बढ़ावा देने और सौर ऊर्जा योजनाओं को अपनाने के लिए उपभोक्ताओं को जागरूक करने की भी बात कही.

बिजली बिल भुगतान और अन्य सेवाएं रहेंगी चालू
UPPCL ने सभी प्रबंध निदेशकों को निर्देश दिया है कि वे यह सुनिश्चित करें कि 30 और 31 मार्च को सभी नकद काउंटर और उपभोक्ताओं से जुड़े कार्य सामान्य दिनों की तरह चलते रहें. इससे बिजली बिलों के भुगतान और अन्य प्रशासनिक कार्यों में किसी प्रकार की रुकावट नहीं आएगी.
हरियाणा सरकार ने भी ईद की छुट्टी रद्द की, बढ़ा विवाद
इससे पहले, हरियाणा सरकार ने भी ईद-उल-फितर पर सभी सरकारी विभागों की छुट्टियां निरस्त करने का निर्णय लिया था. हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने इसका कारण भी वित्तीय वर्ष का अंतिम दिन बताया था हालांकि, इस फैसले का कई संगठनों द्वारा विरोध किया गया. अब यूपी सरकार के इस निर्णय को लेकर भी विभिन्न प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं.
