Ayodhya News In Hindi: 33 साल पहले लिया संकल्प हुआ पूरा ! भगवान श्री राम को साक्षी मानकर अब रचाया विवाह
अयोध्या न्यूज़
अयोध्या (Ayodhya) में भले ही मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम विराजमान हो चुके हैं लेकिन राम मंदिर से जुड़े सैकड़ो लोगों ने संकल्प (Resolution) लेते हुए अपने जीवन के कई दशक न्योछावर (Sacrifice) कर दिए. किसी ने खाना पीना छोड़ दिया था तो किसी ने बात करना ऐसे ही राजस्थान के एक जोड़े ने भी संकल्प लिया था कि जब राम मंदिर बनेगा (Make Ram Mandir) तभी वह शादी रचाएंगे. 33 साल बाद उनका यह संकल्प पूरा हुआ है. इस जोड़े ने अयोध्या के राम मंदिर में ही शादी कर इतिहास रच दिया. वरमाला वही चुनी जिससे रामलला का श्रृंगार किया गया था.
इस जोड़े का 33 वर्ष बाद संकल्प हुआ पूरा
राम मंदिर निर्माण और संघर्षों को लेकर कई कहानी (Many Stories) जुड़ी हुई है. भगवान नाम से प्रभावित सैकड़ो लोगों ने अपना जीवन तक न्योछावर (Sacrifice) कर दिया अब ऐसा ही एक अनोखा मामला (Unique Case) सामने आया है, राजस्थान में रहने वाले एक जोड़े ने आज से 33 बरस पहले यह संकल्प (Pledge) लिया था कि जब तक अयोध्या में रामलला विराजमान नहीं होंगे. तब तक वह शादी नहीं (Not Married) रचाएंगे हालांकि उनके इस संकल्प को पूरा होने में 33 साल का समय लग गया. अब उनका यह प्रण पूरा हो चुका है. इस जोड़े ने अयोध्या के कारसेवकपुरम परिसर में हिन्दू रीति-रिवाज के साथ शादी रचा ली. जो अब देश भर में चर्चा का विषय बनी हुई है.
आख़िर कौन है ये कपल?
आपको बता दे कि राजस्थान के जयपुर में रहने वाले डॉ महेंद्र भारती की शादी साल 1990 में तय हो गई थी लेकिन इस समय अयोध्या राम मंदिर का विवाद (Ram Mandir Dispute) छिड़ गया था जिसमें कारसेवकों पर गोलियां भी चलाई गई थी इस घटना ने उनके दिल और दिमाग पर ऐसा असर डाला कि उन्होंने संकल्प (Pledge) लेते हुए कहा कि जब तक उस भूमि पर भगवान राम विराजमान नहीं होंगे तब तक वह शादी ही नहीं रचाएंगे. 33 सालों के लंबे इंतजार के बाद आखिरकार रामलला विराजमान हो चुके हैं अब डॉक्टर महेंद्र भारती ने अजमेर की रहने वाली डॉक्टर शालिनी गौतम से अयोध्या में शादी रचा ली.
संकल्प लेने के पीछे था ये बड़ा कारण
डॉ महेंद्र के संकल्प लेने के पीछे एक बड़ा कारण यह भी है कि वह 20 साल से भी ज्यादा समय से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रचारक भी रहे हैं. जब 1990 में राम मंदिर को लेकर आंदोलन शुरू हुआ था तभी उन्होंने कहा था कि, यदि उनके जीते जी मन्दिर का निर्माण हुआ तभी शादी करेंगे राम मंदिर निर्माण हम जैसे सनातनी के लिय एक वरदान है.
जिससे लाखों-करोड़ो लोगो की आस्था भी जुड़ी हुई है. उनका ये सौभाग्य है कि उनके इस विवाह के साक्षी कोई नही बल्कि प्रभु श्री राम बने है. उनका ये भी कहना है कि अब उनका बाकी बचा हुआ जीवन प्रभु श्री राम के चरणों मे न्योछावर कर कर्तव्य को पूरा करने का काम करेंगे और उनके इस फैसले पर उनकी पत्नी शालिनी भी कंधे से कंधा मिलाकर चलने को तैयार है.