ग्राउंड रिपोर्ट:25 जिलों में एक साथ सरकारी नौकरी कर करोड़ो रुपए हड़प करने का आरोप जिस शिक्षिका पर है उसकी सच्चाई भी जान लीजिए..!
एक साथ 25 जिलों में नौकरी कर करोड़ो लेने वाली अनामिका असल में है कौन.और मूल रूप से किस ज़िले में रहती है.पूरी ख़बर देखिए युगान्तर प्रवाह की इस ग्राउंड रिपोर्ट में..
फर्रुखाबाद:कथित तौर पर एक साथ 25 जिलों के कस्तूरबा गाँधी स्कूलों में तैनात जिस शिक्षिका अनामिका की चर्चा आज यूपी के साथ साथ पूरे देश में है।असल में वो कंहा की रहने वाली है उसका असली नाम क्या है उसके परिवार में कौन कौन लोग हैं इसकी पूरी पड़ताल युगान्तर प्रवाह द्वारा की गई है।बीते दिन कासगंज से जिस अनामिका को 25 अलग अलग जगहों पर फर्जीवाड़ा कर एक साथ नौकरी करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है वह फर्रुखाबाद ज़िले के कायमगंज कोतवाली क्षेत्र के गांव रजपालपुर की रहने वाली है।अनामिका शुक्ला का वास्तविक नाम सुप्रिया जाटव पुत्री महिपाल सिंह है।
ये भी पढ़े-UP:जिसे अनामिका शुक्ला बताया जा रहा था..उसका असली नाम कुछ और है..!
इस संबंध में जब हमारी टीम पड़ताल करने गांव पहुंची ,तो सुप्रिया के पिता महिपाल सिंह जाटव ने बताया कि उनकी बेटी ने लगभग 2 वर्ष पूर्व बीए पास किया था।पढ़ाई के दौरान ही उसकी मुलाकात मैनपुरी ज़िले में रहने वाले एक नीतू नाम के लड़के से हुई थी जो अपने आप को शिक्षक बताता था।नीतू घर भी आता जाता था।
उसी ने पुत्री सुप्रिया को नौकरी में लगवाने की बात कही थी इसके एवज में उसने रुपयों की डिमांड की थी।उस पर विश्वास कर हमारे द्वारा 50 हज़ार रुपए एडवांस के तौर पर दे दिए गए थे।और शेष रूपये नौकरी लगने के बाद देने की बात कही थी।
ये भी पढ़े-यूपी की एक सरकारी महिला टीचर ने ऐसी हरक़त की है जिसे आप सपने में भी नहीं सोच सकते..!
पिता महिपाल सिंह ने बताया कि मेरी बेटी सिर्फ बीए पास है उसने आगे की पढ़ाई नही की थी।उन्हें इस बारे में कोई जानकारी नहीं है कि उनकी पुत्री यूपी के 25 जनपदों में कैसे नौकरी कर रही है।उनको सिर्फ इतना पता था कि बेटी कासँगज के एक स्कूल में नौकरी मिल गई है।
उन्होंने कहा कि जब इस मामले की जानकारी हुई तो पुत्री को बीते दिन जनपद कासगंज के बीएसए ऑफिस में इस्तीफा देने के लिए भेजा था।जहां से उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
क्या करता है परिवार..
गिरफ्तार हुई अनामिका उर्फ़ सुप्रिया जाटव के घर की आर्थिक स्थित ठीक नहीं है।उसकी एक बड़ी बहन है जो हाईस्कूल तक की पढ़ाई करने के बाद घर में ही रहती है।पिता ग़रीब किसान हैं जिनके पास मात्र दो बीघे खेत हैं।
इस बात की पुष्टि गांव वालों ने भी की है।ग्रामीणों के अनुसार सुप्रिया का परिवार बहुत ही गरीब है।मेहनत मजदूरी करके अपना पेट पाल रहा है।
पिता ने भी इस बात का जिक्र करते हुए बताया कि पुत्री जब से नौकरी में लगी है।तब से केवल उसने घर पर पचास हजार रुपए ही दिए हैं।वेतन के रूप में सुप्रिया को मिली रकम कौन लेता रहा इस बारे में कोई जानकारी नहीं है।
ये भी पढ़े-फर्रूखाबाद:श्रीनिवास चतुर्वेदी बनाए गए अध्यक्ष..!
पड़ताल के दौरान हमारी मुलाकात सुप्रिया की माँ मीरा देवी से हुई इस मामले के बाद से वो बेहद परेशान हैं।जब इस मामले का जिक्र हुआ तो वो रोने लगीं।रोते हुए ही उन्होंने बताया कि उनके दो पुत्र संघरत्न व संजय तथा 2 पुत्रियां है।पुत्री इस तरह के मामले में फंस जाएगी कभी सोचा नहीं था।वह उस नीतू नाम के व्यक्ति को कोस रहीं थीं जिसने ये पूरी साजिश रच उनकी बेटी को नौकरी के नाम पर इस तरह से फँसा दिया।
फ़िलहाल सुप्रिया जाटव पुलिस हिरासत में है।उससे लगातार पूछताछ जारी है।इस मामले में कई और बड़े खुलासे हो सकते हैं।यदि इस मामले की सही जाँच हुई तो यूपी के शिक्षा विभाग के अंदर फैले इस भ्रष्टाचार में कई बड़े नामों का खुलासा हो सकता है!