राजनीति:बर्खास्त बीएसएफ जवान तेज बहादुर को आख़िर सपा ने क्यों बनाया अपना उम्मीदवार-वज़ह क्या रही प्रत्याशी बदलने की.!
वाराणसी में पीएम मोदी के खिलाफ चुनाव लड़ने का ऐलान कर चुके बीएसएफ के बर्खास्त जवान तेज बहादुर अब गठबंधन के प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ेंगे..पढ़े युगान्तर प्रवाह की एक रिपोर्ट।
वाराणसी: चौथे चरण के लिए सोमवार को वोटिंग का दौर जारी है।इसी बीच देश की सबसे वीवीआईपी लोकसभा सीट वाराणसी से कुछ ऐसी ख़बर आ रही है जो भाजपा व मोदी की मुश्किलों को बढ़ा सकती है।दरअसल सपा बसपा रालोद गठबंधन में सपा के कोटे में गई वाराणसी लोकसभा सीट से सपा ने शालिनी यादव को मोदी के खिलाफ चुनावी मैदान में उतारा था।लेक़िन सोमवार को उनका टिकट काटकर सपा ने बीएसएफ के बर्खास्त जवान तेज़बहादुर को गठबंधन का उम्मीदवार बना दिया है।
कौन है बीएसएफ के बर्खास्त जवान तेज़बहादुर जिनकी है पूरे देश में चर्चा.?
क़रीब दो बरस पहले सोसल मीडिया पर एक बीएसएफ के जवान का वीडियो तेज़ी से वायरल हो रहा था जिसमें जवान ने सैनिकों को गुणवत्ताविहीन खाना दिए जाने की बात बताई थी।वीडियो जारी करने वाले जवान का नाम तेज़ बहादुर यादव था।इस वीडियो के वायरल होने के बाद पूरे बीएसएफ में हड़कंप मच गया था और मौजूदा मोदी सरकार भी विपक्षी पार्टियों के निशाने पर आ गई थी।
यह भी पढ़े: पानी की किल्लत के बीच मोदी के रोड शो के लिए सड़कों पर बहाया गया लाखों लीटर पानी.!
वीडियो वायरल होने के बाद बीएसएफ ने तेज़ बहादुर के ऊपर कार्यवाही करते हुए बर्खास्त कर दिया था जिसके बाद से वह आज तक बर्खास्त ही हैं। लेक़िन मौजूदा लोकसभा चुनावों के ऐलान के साथ ही तेज बहादुर ने वाराणसी में पीएम मोदी के खिलाफ चुनाव लड़ने की घोषणा कर दी और वह निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर मैदान में भी उतर चुके थे।लेक़िन सपा ने सोमवार को वाराणसी से शालनी यादव का टिकट काटकर तेज बहादुर को अपनी पार्टी का उम्मीदवार घोषित कर दिया है।
मोदी को मिल सकती है कड़ी टक्कर...
भाजपा ने इस बार के चुनावों में राष्ट्रवाद का मुद्दा बड़े ही जोरशोर से उठाया है।लेक़िन जिस सेना को मोदी सरकार बेहतर सुविधाएं देने की बात करती है और जब उसी सेना का जवान गुणवत्ता विहीन खाने का वीडियो दिखाकर बीएसएफ के जवानों को दिए जाने वाले खाने की पोल खोल देता है तो उसको बर्खास्त कर दिया जाता है। बर्खास्त होने के बाद से ही तेज़ बहादुर भाजपा सरकार पर हमलावर थे और अब प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ ही चुनावी मैदान में है।जिस तरह से पूरे देश में तेज़ बहादुर के प्रति सहानुभूति लोगों ने दिखाई है उससे तो मोदी को वाराणसी में कड़ी मिलने की उम्मीद जताई जा रही है।