Please enable JavaScript to support our website by allowing ads.

History Of Ghantaghar : जानिए 90 दशक पुराने घण्टाघर के घड़ी की कहानी जिसे अंग्रेजों ने इस वजह से बनवाया

औद्योगिक नगरी कानपुर शहर अपने सीने में कई ऐसे ऐतिहासिक धरोहरें संजोए हुए हैं। जिनका खुद का अपना एक अलग ही इतिहास है सैकड़ों साल पुरानी ये धरोहरें उत्तर प्रदेश के सबसे बड़े शहर को बाकी शहरों से अलग करती है जी हां हम बात करने जा रहे हैं कानपुर शहर के कलक्टरगंज चौराहे पर बने घंटाघर की जो अब घंटाघर चौराहे के नाम से जाना जाता है।

History Of Ghantaghar : जानिए 90 दशक पुराने घण्टाघर के घड़ी की कहानी जिसे अंग्रेजों ने इस वजह से बनवाया
कानपुर घण्टाघर की ऐतिहासिक घड़ी

हाईलाइट्स

  • कानपुर की घण्टाघर घड़ी का बहुत पुराना है इतिहास
  • टिकटिक की आवाज़ से घण्टाघर की घड़ी की थी पहचान
  • प्रशासन की पहल के चलते सँवारा जा रहा धरोहरों को

History of kanpur clock tower : यह बात उन दिनों की है जब हमारे देश में अंग्रेजी हुकूमत शासन कर रही थी इस दौरान उन्होंने पूरब का मैनचेस्टर कहे जाने वाले इस शहर को काफी कुछ दिया है उनमें से एक ये घंटाघर भी है जिसका निर्माण साल 1932 बताया जाता है, इस घंटाघर की गूंज कई किलोमीटर तक सुनाई देती थी लेकिन अफसोस सही रखरखाव के ना होने की वजह से यह धरोहर महज एक इतिहास के पन्ने का एक चैप्टर बनकर रह गया है वही कानपुर की ऐतिहासिक धरोहरों को प्रशासन फिर संवारने में जुट गया है.

मिलों में काम करने वाले मजदूरों के लिए लगाई गई थी घड़ी

दरअसल अंग्रेजों के शासन काल के समय घड़ी नहीं हुआ करती थी और जो घड़िया बाजारों में बिकती थी वह काफी महंगी होती थी जिस वजह से हर कोई इन घड़ियों को खरीद नहीं पाता था, इन समस्याओं को ध्यान में रखते हुए हुकूमत द्वारा शहर के प्रमुख चौराहों में से एक कलक्टरगंज चौराहे पर इस घड़ी को लगवाया गया था.

 शहर का सबसे व्यस्त चौराहा माना जाता था क्योंकि इसी चौराहे पर रेलवे स्टेशन भी होने से लोगों की काफी भीड़ देखी जाती थी तब से लेकर आज तक इस चौराहे को घंटाघर चौराहा कहा जाने लगा.अंग्रेजों के शासनकाल के दौरान शहर में बहुत सी मील हुआ करती थी जिसमें रोजाना हजारों लोग मजदूरी किया करते थे ऐसे में उन्हें ड्यूटी पर आने और काम खत्म कर वापस जाने के लिए समय का आकलन कर पाना बहुत ही मुश्किल भरा कार्य होता था और अंग्रेजों द्वारा एक एक मजदूर को समय बताना भी संभव नहीं हो सकता था जिसके चलते एक घंटाघर का निर्माण करवाया गया था।

Read More: Fatehpur Dewar Bhabhi News: 18 साल के देवर से इश्क फरार हुई भाभी ! तीन बच्चों को भी ले उड़ी, मचा हड़कंप

हालांकि वर्तमान में प्रशासन की ओर से इन धरोहरों के खोए हुए अस्तित्व को वापस लाने का काम किया जा रहा है जिनमें से यह घंटाघर चौराहे पर बना घंटाघर भी शामिल है जिसका कुछ समय पहले ही प्रशासन की ओर से इसके रखरखाव और साज-सज्जा किया गया,अब ये घड़ी टिकटिक की आवाज तो नही करती है लेकिन समय सही बताती है.

Read More: Fatehpur News: फतेहपुर में बड़ा हादसा ! खादी ग्रामोद्योग की जर्जर इमारत ढही, महिला मजदूर की मौत, कई घायल

युगान्तर प्रवाह एक निष्पक्ष पत्रकारिता का संस्थान है इसे बचाए रखने के लिए हमारा सहयोग करें। पेमेंट करने के लिए वेबसाइट में दी गई यूपीआई आईडी को कॉपी करें।

Latest News

Fatehpur News Today: बेटी की शादी से पहले पिता ने की आत्महत्या, मां ने भी लगाई फांसी ! फतेहपुर में खुशियां मातम में बदलीं Fatehpur News Today: बेटी की शादी से पहले पिता ने की आत्महत्या, मां ने भी लगाई फांसी ! फतेहपुर में खुशियां मातम में बदलीं
उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के फतेहपुर (Fatehpur) में बेटी की शादी से पहले एक गरीब पिता ने आर्थिक तंगी से...
Fatehpur News: फतेहपुर में बदमाशों का एनकाउंटर ! लूटी गई स्विफ्ट के साथ तीन शातिर गिरफ्तार, दो घायल
Aaj Ka Rashifal 12 May 2025: इस राशियों के जातकों को मिल रहे हैं शुभ संकेत-Today Horoscope In Hindi
India Pakistan Ceasefire: सीजफायर की आड़ में वार: पाकिस्तान की गोलीबारी में शहीद हुए BSF के इम्तियाज, देश ने नम आंखों से किया सलाम
Fatehpur News in Hindi: भारत-पाक संघर्षविराम उल्लंघन के बाद फतेहपुर पुलिस अलर्ट मोड पर, 15 संवेदनशील स्थानों पर कड़ी निगरानी
India Pakistan Ceasefire Violation News in Hindi: संघर्षविराम के 3 घंटे में ही पाकिस्तान का विश्वासघात, जम्मू-कश्मीर से गुजरात तक गोलाबारी
Aaj Ka Rashifal 11 May 2025: इस राशि के जातकों को आकस्मिक धन लाभ होगा-Today Horoscope In Hindi

Follow Us